नूंह में बृजमंडल यात्रा: ड्रोन निगरानी के साथ अर्धसैनिक बलों और 5000 पुलिसकर्मियों की तैनाती

यह यात्रा करीब 70 किलोमीटर की होगी। नूंह से इसकी शुरुआत होगी, जो फिरोजपुर झिरका होकर गांव सिंगार में पूरी होगी। सुबह सात बजे से शाम पांच बजे तक यह यात्रा चलेगी। 
 

हरियाणा के नूंह में सावन माह के पहले सोमवार को बृजमंडल जलाभिषेक यात्रा निकाली जाएगी। इसको लेकर फरीदाबाद मंडल (जिला फरीदाबाद, पलवल, नूंह, सोहना) की पुलिस ने तैयारी लगभग पूरी कर ली है। इस दौरान 5 हजार से अधिक पुलिस कर्मी सुरक्षा व्यवस्था में तैनात रहेंगे।

नूंह में भारी वाहनों के प्रवेश पर प्रतिबंध रहेगा। साथ ही यात्रा की ड्रोन से निगरानी होगी। यह यात्रा सुबह 7 बजे शुरू होगी और शाम 5 बजे पूरी होगी। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि पिछले साल के अनुभव से सीख लेते हुए इस बार पहले से ही सुरक्षा व्यवस्था की पूरी तैयारी की गई है।

आधिकारिक सूत्रों की मानें तो यात्रा के दौरान अर्ध सैनिक बलों की दो कंपनी के अलावा पांच हजार के आसपास पुलिस कर्मी जिले में यात्रा के दौरान तैनात रहेगी। पिछले वर्ष झड़प हुई थी : गौरतलब है कि पिछले साल नूंह में आयोजित बृजमंडल यात्रा के दौरान हिंसक झड़प हो गई थी।

असामाजिक तत्वों ने यात्रा में शामिल श्रद्धालुओं पर हमला कर दिया था। साथ ही जमकर आगजनी की गई थी। इसमें पुलिस कर्मियों समेत कई की जान चली गई थी। भीड़ ने थाना परिसर में खड़े वाहनों को आग के हवाले कर दिया था।

जलाभिषेक यात्रा को लेकर शनिवार नगीना में पीस कमेटी की बैठक हुई। इसमें भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं हरियाणा वक्फ बोर्ड के प्रशासक चौधरी जाकिर हुसैन ने हिस्सा लिया। इस दौरान शांति बनाए रखने की अपील की गई।

जाकिर हुसैन ने कहा कि मेवात की 36 बिरादरी का आपसी भाईचारा पूरी दुनिया में मिसाल है। ये सदियों से चला आ रहा है। कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा इसे तोड़ने की नाकाम कोशिशें समय समय पर की गई हैं, लेकिन ये बेमिसाल है।

फरीदाबाद में 11 एसीपी को जिम्मेदारी सौंपी

शोभायात्रा को लेकर फरीदाबाद पुलिस भी अलर्ट है। जिले में सुरक्षा व्यवस्था को कायम रखने के लिए एक कंपनी को स्टैंडबाय मोड पर रखा गया है। 11 एसीपी को अपने संबंधित क्षेत्र में लगातार निगरानी रखने के आदेश दिए गए हैं।

पुलिस आयुक्त राकेश कुमार आर्य ने जिले के तीनों जोन के पुलिस उपायुक्तों को सुरक्षा व्यवस्था को प्रभारी नियुक्त किया है। 10 सीमावर्ती क्षेत्रों व अंदरूनी क्षेत्रों में नाके लगाए जाएंगे।

सेंट्रल जोन में आगरा नहर रोड स्थित एमसीडी टोल, दुर्गा बिल्डर, बदरपुर टोल प्लाजा सराय, बदरपुर बॉर्डर नजदीक बाई-पास, एनआईटी जोन में सीकरी चौकी राष्ट्रीय राजमार्ग, खोरी जमालपुर, मांगर बॉर्डर आदि स्थानों पर नाके लगेंगे।

एसीपी सोहना अभिरक्षा जोशी ने कहा, ''जलाभिषेक यात्रा की निगरानी ड्रोन से होगी, ताकि सभी प्रकार की गतिविधियों पर बारीकी से नजर रखी जा सके। रायपुर नाका पर वाहनों की सख्त जांच करने के आदेश जारी कर दिए गए है। जनप्रतिनिधियों के साथ संयुक्त बैठक भी कर चुके हैं।''

एसपी नूंह विजय प्रताप ने कहा, ''यात्रा के दौरान जिले में भारी वाहनों का प्रवेश वर्जित रहेगा। गुरुग्राम से आने वाले वाहनों को मुंबई एक्सप्रेसवे, केएमपी के रास्ते गुजारा जाएगा। राजस्थान के अलवर से आने वाले भारी वाहनों को हाईवे व अन्य मार्ग से गुजारा जाएगा।''

गुरुगाम सेक्टर-10ए के मंदिर से यात्रा निकलेगी

 गुरुगाम में बृजमंडल यात्रा की तैयारियां पूरी कर ली गई है। 22 जुलाई को गुरुग्राम के सेक्टर-10ए के श्रीराधा कृष्ण मंदिर से सुबह आठ बजे यह यात्रा शुरू होगी। हरिद्वार से आए हुए गंगाजल कलश को मंदिर में रखा गया है।

यह गंगाजल को लेकर साधु-संतों के अलावा हिंदू संगठनों से 400 से अधिक लोग जलाभिषेक यात्रा निकालेंगे। इसमें प्रमुख रूप से राजीव नगर के गुफा वाला मंदिर से साध्वी महामंडलेश्वर आत्मचेतन गिरी, सराय आश्रम के स्वामी मुक्तानंद महाराज व स्वामी फतेनाथ महाराज, बाकिपुर बाबड़ा के स्वामी अमरदास महाराज, कादीपुर के स्वामी सेवादास महाराज, भीमगड़ खेड़ी मंदिर के साध्वी आदिशक्ति समेत अन्य शामिल होंगे।

विश्व हिंदू परिषद के जिला मंत्री जिला मंत्री यशवंत शेखावत ने कहा कि पांचवी जलाभिषेक यात्रा निकालने की तैयारी पूरी हो चुकी है। गुरुग्राम से सभी हिंदू संगठन साधु-संत सोमवार सुबह 8:00 बजे सेक्टर-10ए श्रीराधा कृष्ण मंदिर से जलाभिषेक यात्रा की शुरुआत करेंगे। 

मुस्लिम समाज के लोग भक्तों पर फूल बरसाएंगे

नूंह में जलाभिषेक यात्रा को ऐतिहासिक बनाने के लिए जिला प्रशासन के साथ मुस्लिम समाज के लोग भी आगे आ रहे हैं। मुस्लिम समाज के लोग यात्रा में शामिल भक्तों का स्वागत फूलों से करेंगे। यह कदम मेवात क्षेत्र में सदियों पुराने हिन्दू-मुस्लिम समाज के भाईचारे को कायम रखने के उद्देश्य से उठाया गया है।

मुस्लिम मेव सभा और मीरासी समाज ने इस यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं के जलपान के लिए स्टॉल लगाने की अनुमति जिला प्रशासन से प्राप्त की है। गौरतलब है कि पिछले वर्ष 31 जुलाई को इस यात्रा के दौरान हिंसा हो गई थी।

ऑल इंडिया मेव महासभा और मुस्लिम मीर मीरासी संस्था ने इस यात्रा का स्वागत करने का निर्णय लिया है ताकि मेवात के सदियों पुराने हिन्दू-मुस्लिम भाईचारे को बनाए रखा जा सके। यह कदम इस बात को दर्शाता है कि समाज में शांति और सौहार्द्र को बढ़ावा देना कितना महत्वपूर्ण है।

मुस्लिम समाज के लोगों द्वारा इस प्रकार की पहल से न केवल धार्मिक अनुष्ठान को सफल बनाने में मदद मिलेगी, बल्कि समाज में एकता और भाईचारे की भावना भी प्रबल होगी। यात्रा में शामिल श्रद्धालुओं के स्वागत में उपरोक्त संस्था की तरफ से विशेष व्यवस्था की जाएगी।

टेंट लगाए जाएंगे। जलपान के साथ श्रद्धालुओं के बैठने के लिए कुर्सियों की व्यवस्था भी की जाएगी। संस्थाओं की पहल की सराहना की जा रही है।

यह आयोजन समाज के सभी वर्गों को एक साथ लाने का प्रयास है। जो शांति और सद्भावना का प्रतीक भी है। इस बार की जलाभिषेक यात्रा को एकता और शांति का प्रतीक माना जा रहा है।

स्वागत की तैयारी

यह यात्रा करीब 70 किलोमीटर की होगी। नूंह से इसकी शुरुआत होगी, जो फिरोजपुर झिरका होकर गांव सिंगार में पूरी होगी। सुबह सात बजे से शाम पांच बजे तक यह यात्रा चलेगी। इस दौरान जगह-जगह श्रद्धालुओं के स्वागत में लोग खड़े होंगे।

मुस्लिम मीर मीरासी संस्था का जिला अध्यक्ष साहिल खान ने यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं के लिए जलपान का स्टॉल लगाने की अनुमति जिला प्रशासन से ली है। ऑल इंडिया मेव महासभा के महासचिव कमाल हुसैन के आवेदन पर जिला प्रशासन ने अनुमति दी है।

उपायुक्त नूंह धीरेंद्र खड़गटा ने कहा, ''जलाभिषेक यात्रा में शामिल होने वाले श्रद्धालुओं के लिए जलपान का स्टाल लगाने के लिए मुस्लिम समाज की संस्थाओं को अनुमति दी गई है। यह स्टाल अलग-अलग लगाए जाएंगे।''