सामने आई चौकने वाली रिपोर्ट मर्दों से ज्यादा Whiskey पीती हैं इस देश की महिलाएं

Women and whiskey: शराब पीना सेहत के लिए बहुत हानिकारक होता है और हाल ही में एक रिसर्च से ये बहुत बड़ा खुलासा हुआ है जिससे पता चला है की यहां की महिलाएं पुरुषों से ज्यादा शराब पीती है। 
 

Male vs female alcohol consumption : शराब को लेकर हमेशा ही चौंकाने वाले आंकड़े सामने आते रहे हैं। कभी न्यू ईयर तो कभी फेस्टिव सीजन… लोग करोड़ों-अरबों की शराब गटक जाते हैं। अब एक रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि ब्रिटेन की महिलाएं शराब पीने के मामले में टॉप पर हैं। महिलाएं इतनी ज्यादा शराब पीते हैं, इसके पीछे शौक या फिर आदत है… ये स्पष्ट नहीं है। हालांकि ब्रिटेन की ये स्थिति तब है जब वहां मेडिकल सुविधाएं काफी कम हैं।

Who drinks more alcohol males or females

न्यूज साइट द गार्जियन की एक रिपोर्ट के अनुसार आर्थिक सहयोग और विकास संगठन (Organisation for Economic Co-operation and Development) ने 33 देशों में शराब की खपत की तुलना की है। रिपोर्ट के मुताबिक, ब्रिटिश महिलाएं शराब पीने के मामले में वैश्विक चार्ट में पहले नंबर पर हैं। बताया गया है कि यहां की महिलाएं एक बार में कम से कम छह पैग पीती हैं। महीने में छह पैग पीने वाली महिलाओं की संख्या 26% है, जबकि पुरुषों का आकंड़ा 45% है

सरकार को विचार करना चाहिए

महिलाओं और पुरुषों को मिला दिया जाए तो सबसे ज्यादा शराब पीने के मामले में ब्रिटेन का लक्जमबर्ग, रोमानिया और डेनमार्क के बाद तीसरे स्थान पर था। अल्कोहल चेंज यूके के मुख्य कार्यकारी डॉ. रिचर्ड पाइपर ने कहा कि यूके में शराब बहुत ज्यादा नुकसान पहुंचाती है। यह विचार का एक गंभीर मुद्दा है। उन्होंने बताया कि सरकार को इस बारे में प्रभावी कदम उठाने चाहिए, ताकि शराब के नुकसान से लोगों को बचाया जा सके।

युवाओं में बढ़ रहा वेपिंग (ई-सिगरेट) का शौक

ओईसीडी की रिपोर्ट में यह भी पाया गया कि ब्रिटेन के युवाओं में अन्य देशों की तुलना में वेपिंग (ई-सिगरेट) की संभावना ज्यादा है, हालांकि स्मोकिंग की दर औसत से कम हुई है। यूके में वर्तमान में केवल 12.7% लोग धूम्रपान करते हैं, जबकि ओईसीडी के मुताबिक ये आंकड़ा औसतन 16% है। रिपोर्ट में कहा गया है कि 20 वयस्कों में से करीब 4.9% ने कहा कि वे नियमित रूप से वेपिंग (ई-सिगरेट स्मोकिंग) करते हैं।

ब्रिटेन में अस्पताल की ये है हालत

रिपोर्ट में पाया गया कि ब्रिटेन कई देशों की तुलना में स्वास्थ्य संबंधी मामलों में काफी खर्च करता है, लेकिन उसके पास अस्पतालों में बेड और स्वास्थ्य उपकरण कम हैं। इतना ही नहीं ब्रिटेन में नर्सों को काफी कम भुगतान होता है। रिपोर्ट के अनुसार, आकड़ा बताता है कि साल 2022 में ब्रिटेन की जीडीपी का कुल 11.3% हिस्सा सिर्फ स्वास्थ्य सुविधाओं पर ही खर्च किया गया।

मेडिकल डिवाइस की है भारी कमी

ओईसीडी की रिपोर्ट के पांच देश (अमेरिका, जर्मनी, फ्रांस, जापान और ऑस्ट्रिया) में भी अनुपात से ज्यादा खर्चा स्वास्थ्य सुविधाओं पर किया जाता है। कहा गया है कि जीडीपी का बड़ा हिस्सा खर्च करने के बाद भी यूके की स्वास्थ्य सुविधाएं कहीं भी रैंक नहीं करती हैं। रिपोर्ट में खुलासा किया गया है कि साल 2021 की जनसंख्या के मुताबिक यहां प्रति 1000 व्यक्तियों पर औसतन 4.3 बेड है। इतना ही नहीं यहां एमआरआई, सीटी स्कैन और पीईटी स्कैनर भी काफी कम संख्या हैं।

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