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Aaj ka Rashifal: 6 जनवरी 2023 काे कैसा रहेगा आपका दिन, जानिए अपनी राशि का पूरा ब्‍यौरा

Aaj ka Rashifal: 6 जनवरी 2023 काे कैसा रहेगा आपका दिन, जानिए अपनी राशि का पूरा ब्‍यौरा

Aaj ka Rashifal: (Happy New Year 2023) आज 06 जनवरी, 2023 है। आइए जानते हैं कि मेष से मीन राशि के जातकों का दिन कैसा रहेगा। ग्रह गोचर और शुभ मूहुर्त का समय क्‍या है। यहां आपको Yearly Horoscope 2023 दैनिक जीवन में उपयोग में आने वाले पंचांग का ब्‍यौरा उपलब्‍ध है।

Aaj ka Rashifal: (Happy New Year 2023) आचार्य  नीरज  पाराशर (वृन्दावन) वाले आपको बता रहे हैं कि आज का भविष्‍य फल कैसा रहेगा। ग्रह गोचर और शुभ मूहुर्त का समय क्‍या है।

यहां आपको Yearly Horoscope 2023 दैनिक जीवन में उपयोग में आने वाले पंचांग का ब्‍यौरा उपलब्‍ध है। यहां आपको Horoscope और Astrology के साथ-साथ Aaj Ka Panchang पढ़ने को मिलेगा। वहीं एस्ट्रोलॉजी टिप्स और शुभ मुहूर्त तथा नक्षत्र और दिशाशूल के बारे में भी बताया जाएगा। 

दैनिक राशिफल 

देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।
नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।
विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।
जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।

मेष 

लाभ के अवसर हाथ आएंगे। व्यापार-व्यवसाय में गति आएगी। नौकरी में जवाबदारी बढ़ेगी। निवेश में जल्दबाजी न करें। आय बनी रहेगी। परिवार के साथ सुखमय जीवन व्यतीत होगा। तीर्थयात्रा का कार्यक्रम बन सकता है। पूजा-पाठ में मन लगेगा। कोर्ट व कचहरी के कार्य अनुकूल रहेंगे।

वृष

बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे। शेयर मार्केट के कार्यों में मनोनुकूल सफलता प्राप्त होगी। नौकरी में अधिकार बढ़ सकते हैं। भेंट व उपहार की प्राप्ति से संतोष तथा प्रसन्नता रहेगी। व्यापार-व्यवसाय लाभप्रद रहेगा। पार्टनरों का सहयोग मिलेगा। स्वास्थ्‍य का ध्यान रखें। जल्दबाजी न करें।

मिथुन

आय में निश्चितता रहेगी। अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे। बजट बिगड़ेगा। कर्ज लेना पड़ सकता है। कुसगंति से मानहानि तथा धनहानि हो सकती है। विवेक से कार्य करें। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। किसी भी तरह के वाद-विवाद से दूर रहें। कार्य में विलंब होगा। जोखिम न उठाएं।

कर्क

व्यापार-व्यवसाय मनोनुकूल लाभ देगा। आय बनी रहेगी। जोखिम न लें। कीमती वस्तु चोरी या गुम हो सकती है, सावधानी रखें। दूसरों से अपेक्षा न करें। किसी व्यक्ति के उकसाने में न आएं। वाहन व मशीनरी के प्रयोग में लापरवाही न करें। महत्वपूर्ण निर्णय लेने में जल्दबाजी हानिकारक रहेगी।

सिंह

जीवनसाथी से सहयोग मिलेगा। कोर्ट व कचहरी के कार्यों में गति आएगी। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। निवेश शुभ रहेगा। मित्रों के साथ समय प्रसन्नतादायक गुजरेगा। मनोरंजन के अवसर प्राप्त होंगे। लाभ होगा। मन की चंचलता के चलते कोई ऐसा काम न करें जिससे कि अपमानित होना पड़े।

कन्या

कारोबारी कामकाज में व्यस्तता अधिक रहेगी। आय में वृद्धि होगी। सुख के साधनों पर व्यय होगा। निवेश मनोनुकूल लाभ देगा। पारिवारिक सहयोग समय पर मिलेगा। प्रसन्नता में वृद्धि होगी। व्यावसायिक यात्रा लंबी रह सकती है व लाभदायक रहेगी। बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे।

तुला

किसी अपने के व्यवहार से दिल को ठेस पहुंच सकती है। दु:खद समाचार मिल सकता है। नकारात्मकता रहेगी। काम में मन नहीं लगेगा। आवश्यक वस्तु समय पर नहीं मिलने से क्रोध रहेगा। विवाद न करें। आय रहेगी। थकान महसूस होगी। आवश्यक व महत्वपूर्ण निर्णय लेने में जल्दबाजी न करें।

वृश्चिक

निवेश शुभ रहेगा। यात्रा की योजना बनेगी। किसी प्रभावशाली महत्वपूर्ण व्यक्ति से मार्गदर्शन व सहयोग प्राप्त होगा। भूले-बिसरे साथियों से मुलाकात होगी। शुभ समाचार प्राप्त होंगे। प्रसन्नता में वृद्धि होगी। जोखिम उठाने का साहस कर पाएंगे। व्यापार से लाभ होगा। नौकरी में कार्यभार तथा जवाबदारी में वृद्धि होगी।

धनु

व्यवसाय-व्यापार ठीक चलेगा। मित्रों का सहयोग समय पर प्राप्त होगा। दु:खद समाचार की प्राप्ति से मन खिन्न रहेगा। काम में मन नहीं लगेगा। नकारात्मकता रहेगी। किसी भी तरह के विवाद में न पड़ें। भागदौड़ रहेगी। थकान व कमजोरी महसूस होगी। नौकरी में मातहतों का साथ नहीं मिलेगा। समय पर कार्य न होने से तनाव रहेगा।

मकर

पार्टी व पिकनिक का कार्यक्रम बन सकता है। विद्यार्थी वर्ग परीक्षा व साक्षात्कार आदि में सफल रहेंगे। अध्ययन में मन लगेगा। व्यापार-व्यवसाय मनोनुकूल लाभ देंगे। स्वास्थ्य का पाया कमजोर रह सकता है। अनदेखी नहीं करें। नौकरी में कार्यभार रहेगा। शेयर मार्केट में जोखिम न लें। स्वादिष्ट भोजन का आनंद प्राप्त होगा।

कुंभ

सुख के साधन जुटेंगे। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। व्यापार व्यवसाय से लाभ होगा। नौकरी में प्रशंसा मिलेगी। आने-जाने में जल्दबाजी न करें। थकान रहेगी। समय की अनुकूलता रहेगी, लाभ लें। प्रसन्नता रहेगी। भूमि व भवन संबंधी बाधा दूर होकर कार्य में गति आएगी।

मीन

आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। मित्रों की सहायता कर पाएंगे। आय से संतुष्टि रहेगी। सामाजिक प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। शेयर मार्केट के काम मनोनुकूल लाभ देंगे। प्रयास सफल रहेंगे। बड़ा काम करने की योजना बनेगी। व्यापार से लाभ होगा। नौकरी में कार्य की प्रशंसा होगी। घर-परिवार की चिंता रहेगी।

दिनाँक:-06/01/2023, शुक्रवार

पूर्णिमा, शुक्ल पक्ष, 
पौष
"""""""""""""""""""""""""""""""""""""""""(समाप्ति काल)

तिथि---------    पूर्णिमा    28:36:54       तक 
पक्ष------------------------    शुक्ल
नक्षत्र-----------    आर्द्रा    24:12:43
योग--------------    ब्रह्म    08:09:06
करण-------    विष्टि भद्र    15:24:12
करण--------------    बव    28:36:54
वार-----------------------    शुक्रवार
माह-------------------------     पौष
चन्द्र राशि------------------  मिथुन
सूर्य राशि---------------------- धनु
रितु------------------------    शिशिर
आयन------------------    उत्तरायण
संवत्सर------------------    शुभकृत
संवत्सर (उत्तर)    ---------------------नल
विक्रम संवत----------------    2079 
गुजराती संवत--------------    2079 
शक संवत------------------    1944

वृन्दावन 

सूर्योदय---------------    07:12:05    
सूर्यास्त---------------    17:37:53
दिन काल-------------    10:25:47    
रात्री काल--------------13:34:20
चंद्रोदय----------------    17:01:02    
चंद्रास्त----------------    31:31:17

लग्न---- धनु 21°17' , 261°17'

सूर्य नक्षत्र---------------    पूर्वाषाढा    
चन्द्र नक्षत्र-------------------    आर्द्रा 
नक्षत्र पाया------------------- लोहा 

पद, चरण

घ----    आर्द्रा    10:47:48

ङ----    आर्द्रा    17:30:02

छ----    आर्द्रा    24:12:43

के----    पुनर्वसु    30:55:48

ग्रह गोचर

ग्रह =राशी   , अंश  ,नक्षत्र,  पद
==========================
सूर्य=धनु   20 : 29   पू oषाo  ,          3        फा 
चन्द्र =मिथुन 06°23, मृगशिरा    ,        4      की 
बुध =मकर 09 ° 34'  उ o षाo      '    4         ढा 
शुक्र=मकर 09°05,  उ o षाo     '      4       जी 
मंगल=वृषभ  14°30  ' रोहिणी'       2         वा 
गुरु=मीन  07°30 '   उ o भा o,        2        थ 
शनि=मकर 28°43 '      धनिष्ठा   '     2       गी       
राहू=(व) मेष  15°50     भरणी ,       2        ली 
केतु=(व) तुला 15°50   विशाखा ,     3       रो 

शुभा$शुभ मुहूर्त

राहू काल    11:07 - 12:25    अशुभ
यम घंटा    15:01 - 16:20    अशुभ
गुली काल    08:30 - 09:49 अशुभ 
अभिजित    12:04 - 12:46    शुभ
दूर मुहूर्त    09:17 - 09:59    अशुभ
दूर मुहूर्त    12:46 - 13:28    अशुभ
वर्ज्यम    37:39* - 39:27*    अशुभ

चोघडिया, दिन

चर    07:12 - 08:30    शुभ
लाभ    08:30 - 09:49    शुभ
अमृत    09:49 - 11:07    शुभ
काल    11:07 - 12:25    अशुभ
शुभ    12:25 - 13:43    शुभ
रोग    13:43 - 15:01    अशुभ
उद्वेग    15:01 - 16:20    अशुभ
चर    16:20 - 17:38    शुभ

चोघडिया, रात

रोग    17:38 - 19:20    अशुभ
काल    19:20 - 21:01    अशुभ
लाभ    21:01 - 22:43    शुभ
उद्वेग    22:43 - 24:25*    अशुभ
शुभ    24:25* - 26:07*    शुभ
अमृत    26:07* - 27:49*    शुभ
चर    27:49* - 29:30*    शुभ
रोग    29:30* - 31:12*    अशुभ

होरा, दिन

शुक्र    07:12 - 08:04
बुध    08:04 - 08:56
चन्द्र    08:56 - 09:49
शनि    09:49 - 10:41
बृहस्पति    10:41 - 11:33
मंगल    11:33 - 12:25
सूर्य    12:25 - 13:17
शुक्र    13:17 - 14:09
बुध    14:09 - 15:01
चन्द्र    15:01 - 15:54
शनि    15:54 - 16:46
बृहस्पति    16:46 - 17:38

होरा, रात

मंगल    17:38 - 18:46
सूर्य    18:46 - 19:54
शुक्र    19:54 - 21:01
बुध    21:01 - 22:09
चन्द्र    22:09 - 23:17
शनि    23:17 - 24:25
बृहस्पति    24:25* - 25:33
मंगल    25:33* - 26:41
सूर्य    26:41* - 27:49
शुक्र    27:49* - 28:57
बुध    28:57* - 30:04
चन्द्र    30:04* - 31:12

उदयलग्न प्रवेशकाल

धनु     > 04:43   से   06:52  तक
मकर   > 06:52   से 08:32   तक
कुम्भ   > 08:32   से  10:10  तक
मीन    > 10: 10   से  11:34 तक
मेष     > 11:34    से  13:14  तक
वृषभ   > 13:14   से  17:32   तक 
कर्क    > 17:32   से  19:42   तक
सिंह    >  19:42   से 21:58    तक
कन्या  > 21:58    से  00:08   तक
तुला   >  00:08   से   03:16  तक
वृश्चिक > 02:16   से  04:26  तक

विभिन्न शहरों का रेखांतर (समय)संस्कार

(लगभग-वास्तविक समय के समीप) 
दिल्ली +10मिनट--------- जोधपुर -6 मिनट
जयपुर +5 मिनट------ अहमदाबाद-8 मिनट
कोटा   +5 मिनट------------ मुंबई-7 मिनट
लखनऊ +25 मिनट--------बीकानेर-5 मिनट
कोलकाता +54-----जैसलमेर -15 मिनट

नोट-- दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है। 
प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है। 
चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥
रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।
अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥
अर्थात- चर में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।
उद्वेग में भूमि सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।
लाभ में व्यापार करें ।
रोग में जब रोगी रोग मुक्त हो जाय तो स्नान करें ।
काल में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।
अमृत में सभी शुभ कार्य करें ।

दिशा शूल ज्ञान-------------पश्चिम

परिहार-: आवश्यकतानुसार यदि यात्रा करनी हो तो  घी अथवा काजू खाके यात्रा कर सकते है l
इस मंत्र का उच्चारण करें-:
शीघ्र गौतम गच्छत्वं ग्रामेषु नगरेषु च l
भोजनं वसनं यानं मार्गं मे परिकल्पय: ll

अग्नि वास ज्ञान

यात्रा विवाह व्रत गोचरेषु,
चोलोपनिताद्यखिलव्रतेषु ।
दुर्गाविधानेषु सुत प्रसूतौ,
नैवाग्नि चक्रं परिचिन्तनियं ।। महारुद्र व्रतेSमायां ग्रसतेन्द्वर्कास्त राहुणाम्
नित्यनैमित्यके कार्ये अग्निचक्रं न दर्शायेत् ।।

15 + 6 + 1 = 22 ÷ 4 = 2 शेष
आकाश लोक पर अग्नि वास हवन के लिए अशुभ कारक है l

ग्रह मुख आहुति ज्ञान

सूर्य नक्षत्र से अगले 3 नक्षत्र गणना के आधार पर क्रमानुसार सूर्य , बुध , शुक्र , शनि , चन्द्र , मंगल , गुरु , राहु केतु  आहुति जानें । शुभ ग्रह की आहुति हवनादि कृत्य शुभपद होता है

शनि ग्रह मुखहुति

शिव वास एवं फल

15 + 15 + 5 =  35 ÷ 7 = 0 शेष

शमशान वास = मृत्यु कारक

भद्रा वास एवं फल

स्वर्गे भद्रा धनं धान्यं ,पाताले च धनागम:।
मृत्युलोके यदा भद्रा सर्वकार्य विनाशिनी।।

दोपहर 15:24 या समाप्त
 
स्वर्ग लोक = शुभ कारक

विशेष जानकारी

*पौषी पूर्णमासी

*सर्वार्थ सिद्धि योग 24:13 से 

*दाऊजी महाराज की झांकी

*माघ स्नान प्रारम्भ

*शाकम्भरी जयंती

शुभ विचार

एकोऽपि गुणवान् पुत्रो निर्गुणैश्च शतैर्वरः ।
एकश्चन्द्रस्तमो हन्ति न च ताराः सहस्त्रशः ।।
।। चा o नी o।।

सैकड़ों गुणरहित पुत्रों से अच्छा एक गुणी पुत्र है क्योंकि एक चन्द्रमा ही रात्रि के अन्धकार को भगाता है, असंख्य तारे यह काम नहीं करते.

सुभाषितानि

गीता -: विभूति योग अo-10

कथं विद्यामहं योगिंस्त्वां सदा परिचिन्तयन्‌ ।,
केषु केषु च भावेषु चिन्त्योऽसि भगवन्मया ॥,

हे योगेश्वर! मैं किस प्रकार निरंतर चिंतन करता हुआ आपको जानूँ और हे भगवन्‌! आप किन-किन भावों में मेरे द्वारा चिंतन करने योग्य हैं?॥,17॥,

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