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Adampur Election News: आदमपुर उपचुनाव में कौन है 'बाहरी' तो कौन है किस पर 'भारी'

Adampur Election News: आदमपुर उपचुनाव में कौन है 'बाहरी' तो कौन है किस पर 'भारी'
रियाणा में आदमपुर उपचुनाव की बिसात बिछ चुकी है।  अगले महीने 3 नवंबर को होने वाले इस उपचुनाव को लेकर सभी पार्टियों ने कमर कस ली है। सत्ताधारी और विपक्षी पार्टियों के लिए यह चुनाव जीतना नाक का सवाल बन गया है।

Haryana News Post : Adampur Chunav:   हरियाणा में आदमपुर उपचुनाव की बिसात बिछ चुकी है।  अगले महीने 3 नवंबर को होने वाले इस उपचुनाव को लेकर सभी पार्टियों ने कमर कस ली है। सत्ताधारी और विपक्षी पार्टियों के लिए यह चुनाव जीतना नाक का सवाल बन गया है।

विपक्षी पार्टियों द्वारा इस उपचुनाव को आने वाले विधानसभा चुनाव का सेमीफाइनल तक कहा जा रहा है।  ऐसे में सत्ताधारी भाजपा से लेकर मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस चुनाव को जीतने की पुरजोर कोशिश कर रहे हैं। इस उपचुनाव में भाजपा निरंतर कांग्रेस पर आरोप लगा रही है कि जयप्रकाश बाहरी उम्मीदवार है तो वहीं दूसरी तरफ आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार सतेंद्र सिंह पर आरोप लग रहे हैं

कि वो आम आदमी नहीं बल्कि खास हैं।  इसके अलावा यह भी चर्चा है कि ज्यादातर मुख्य दावेदार कैंडिडेट्स दल बदल चुके हैं। ऐसे में अब  यह देखना होगा कि कौन कैंडिडेट्स और पार्टी किस पर भारी पड़ेगी। ये चुनाव एक तरह से सभी पार्टियों के दिग्गज नेताओं के लिए अस्तित्व की लड़ाई बन गया है। भाजपा, कांग्रेस, आप और इनेलो के तमाम दिग्गजों ने आदमपुर में डेरा डाल लिया है। 

कांग्रेस के जय प्रकाश को भाजपा बता रही बाहरी उम्मीदवार

जय प्रकाश ने साल 2009 में इसी सीट पर भजनलाल परिवार के खिलाफ चुनाव लड़ा था।  हालांकि चुनाव में उन्होंने कड़ी टक्कर दी थी और कई 6 हजार वोट के अंतर से उनको हार मिली। उनको लेकर भाजपा नेता और पार्टी के उम्मीदवार भव्य बिश्नोई के पिता कुलदीप बिश्नोई निरंतर हमलावर है।

उन्होंने कहा कि जयप्रकाश पिछले 13 साल में कभी आदमपुर नहीं आए।  चुनाव लड़ने के बाद उनका यहां के लोगों से कोई वास्ता नहीं रहा। कुलदीप यहीं नहीं रुके, उन का कहना कि जब जेपी ने चुनाव लड़ा था तो उनके चुनावी खर्च की देनदारियों आज तक बची हुई है। किसी पेट्रोल पंप वाले के पैसे देने हैं तो किसी हलवाई के। जयप्रकाश ने कभी हलके के लोगों की सुध नहीं ली।  ऐसे में उनको वोट देने का कोई औचित्य ही नहीं बनता। वहीं कांग्रेस दिग्गज भूपेंद्र सिहं हुड्डा का दावा है कि पार्टी सीट निकाल लेगी। 

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कुरडाराम को लेकर भी दूसरी पार्टियां उठा रही सवाल...

कांग्रेस ने जयप्रकाश को टिकट दे दी थी।  तो उस वक्त पार्टी के ही कुरड़ाराम ने उनको बाहरी उम्मीदवार बताया था और इससे असंतोष जताते हुए पार्टी छोड़ दी थी।  इसके करीब डेढ़ घंटे बाद उन्होंने इनेलो ज्वाइन कर ली थी।  इनेलो ज्वाइन करने के 12 मिनट के अंदर ही उनको पार्टी का कैंडिडेट घोषित कर दिया गया। 

इसको लेकर दूसरी पार्टियां उन पर निरंतर हमलावर है कि वह दलबदलू हैं और राजनीतिक फायदे के लिए इनेलो चले गए। वही इसको लेकर इनेलो विधायक अभय सिंह चौटाला कह रहे हैं को कुरड़ाराम को अगर कांग्रेस टिकट देती तो निश्चित रूप से जीतते लेकिन कांग्रेस के रवैए से साफ है कि वह इस तरह से भाजपा की मदद ही कर रहे हैं। 

पार्टी के नेता ही आप कैंडिडेट सतेंद्र सिंह पर हमलावर, उनको  आम आदमी नहीं बल्कि बता रहे खास

आम आदमी पार्टी ने सतेंद्र सिंह को चुनावी रण में उतारा है। इससे पहले वो इस विधानसभा क्षेत्र से दो बार चुनाव लड़ चुके हैं।  एक बार सत्ताधारी भाजपा के टिकट पर रण में उतरे थे तो दूसरी दफा मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने टिकट दिया था। इसी बीच अब विपक्षी दल, यहां तक कि उनकी ही पार्टी के स्थानीय नेता आरोप लगा रहे हैं कि सतेंद्र सिंह आम आदमी नहीं बल्कि खास हैं।

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  पार्टी की  आम आदमी को बराबर मौका देने और राजनीति में आगे बढ़ाने की विचारधारा है, वह उस में फिट नहीं बैठ रहे हैं। उन पर निरंतर आरोप लग रहे हैं कि उन्होंने पार्टी हाईकमान में सेटिंग करके टिकट लिया है।  इसके अलावा उन पर दल बदलू होने के आरोप लग रहे हैं। 

कहा जा रहा है भाजपा और कांग्रेस में रहने के बाद अब राजनीतिक फायदे के लिए आप में आए हैं। इसी साल 7 सितंबर को ने भाजपा छोड़कर आम आदमी पार्टी ज्वाइन की थी.  इससे पहले साल 2019 में उन्होंने कांग्रेस को तिलांजलि दे भाजपा ज्वाइन की थी। ऐसे में साल 2019 से लेकर अब तक वह तीन पार्टियों में रह चुके हैं।  

भव्य के सामने गढ़ बचाने की चुनौती, राजनीतिक विरासत का फायदा मिलना तय

भाजपा ने सीट से भव्य बिश्नोई को मैदान में उतारा है। हालांकि ये सीट भजनलाल परिवार का गढ़ रही है। पहले भजन ला कई बार सीट से जीते हैं तो बाद में बेटे कुलदीप बिश्नोई ने यहां से जीत दर्ज की। अब तीसरी पीढ़ी ताल ठोक रही है लेकिन अबकी बार चुनौती काफी बड़ी है। लेकिन यहां ये भी बता दें कि भव्य को सीट पर परिवार की राजनीतिक विरासत का फायदा मिलना तय है। इसके अलावा भव्य स्थानीय उम्मीदवार हैं तो इसके चलते भी वो सुखद स्थिति में नजर आ रहे हैं। पार्टी के तमाम दिग्गज उनके लिए यहां प्रचार कर रहे हैं। सीएम मनोहर लाल और होम मिनिस्टर अनिल विज को भी प्रचार में आना है। 


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